Thursday 30 May 2013

संसार के सारे ही रंग बेटियों से ही होते है ...

आँखे बंद करके 
सोचा जब तुझे  ,
छोटे - छोटे,नर्म -मुलायम ,
हाथों को ,
फूलों की पंखुड़ी से
 कोमल मुखड़े  को 
अपने बहुत करीब पाया ...  




सोचती हूँ
 कितना अद्भुत होता 
 जो तुम मेरी बाँहों में झूलती,
कभी ओझल न करती 
अपनी नज़रों से ,
तुम्हारी भोली मुस्कान-
पर दुनिया ही वार देती मैं  ...


पहनाती तुझे
पैरो में नन्ही -नन्ही पायल ,
महसूस करती ,
 घुंघरू के रुनझुन को अंतर्मन में 


.


 किस्मत वाले ही
 होते वे जिनके घर होती हैं बेटियां
 मुझे तुझ बिन दुनिया ही 
बे-रंग लगती है ,
क्यूंकि संसार के सारे ही रंग बेटियों 
से ही होते है ...


13 comments:

  1. खूबशूरत अहशास ,बेटियां यादों में रची बसी होती ही है ,

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  2. किस्मत वालो के घर बेटियाँ होती है ,,

    Recent post: ओ प्यारी लली,

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  3. संसार के सारे रंग ही बेटियों से होते हैं ..... सच
    भावमय करते शब्‍द

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  4. संसार के सारे रंग ही बेटियों से होते हैं.........सही है
    latest post बादल तु जल्दी आना रे (भाग २)
    अनुभूति : विविधा -2

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  5. बेटियां भगवान का सबसे बड़ा वरदान हैं...बहुत सुन्दर और सटीक रचना...

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  6. umda rachna di...

    जब मैने आँखे खोली
    तेरी गोद मे खुद को पाया हैं..
    माँ तू तो मेरा साया हैं...
    धन्य हुई मैं तुझको पाकर
    मेरा रोम रोम हरषाया हैं....
    माँ जब भी तूने मुझे गले से लगाया हैं..
    (अपनी प्यारी बेटी के लिए)

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  7. बहुत प्यारी रचना.... बेटी से तो हर रंग है .

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  8. सचमुच बेटी नहीं तो घर में है क्या?

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  9. आपकी यह रचना कल शनिवार (01 -05-2013) को ब्लॉग प्रसारण पर लिंक की गई है कृपया पधारें.

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  10. बेटियां जीवन होती हैं, घर की परिभाषा बेटियां ही लिखती हैं,वाकई बेटी बिना जग सूना है
    बहुत सुंदर अभिव्यक्ति और रचना
    सादर


    आग्रह है पढें
    तपती गरमी जेठ मास में---
    http://jyoti-khare.blogspot.in

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  11. बेटियों के बिना घर आधा है अधूरा है ...........सुन्दर प्रस्तुति

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  12. बहुत सुन्दर बिटिया जैसी प्यारी प्रस्तुति ...

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