याद में बसी
चंपा के फूलों की महक
अब भी महका जाती है
मुलाकात तुमसे
पहली -पहली ,
पहले -पहल जब
मिले थे चंपा की छाँव में
शाम के धुंधलके में ...
थोडा सकुचाये तुम
घबराई सी थी
मैं भी
निशब्द ताकना तुम्हारा
बोलती आँखों से
लब खामोश थे ...
सहसा चंपा के फूल
का गिरना ,
फूल तो बहाना था
मानो मिला एक जरिया
तुम्हे मुझसे बतियाने का ...
हाथ में फूल
लबों पर मुस्कान
आँखों में प्रेम ,
याद है वो पल - घड़ी
मुझे अभी भी - आज भी
क्या तुम्हें भी है याद ...
याद मुझे तो है
वह तुम्हारी मुस्कान
फूल का मेरी तरफ बढ़ाना
जाने तुम फूल दे रहे थे
या मेरी तरफ हाथ बढा रहे थे ...
चंपा के फूल में बसा
तुम्हारा प्रेम
तुम्हारी छुअन
तुम्हारा मूक प्रेम -निवेदन
मुझे महका जाता है
आज भी -अभी भी
जब भी चंपा के पेड़ को
ताकती हूँ ...
क्या तुम्हे भी याद है
वो महक ,
वह छुअन
या तुमने भी भुला दिया
चंपा तले वो महकी हुयी सी
पहली मुलाकात ...
चंपा के फूलों की महक
अब भी महका जाती है
मुलाकात तुमसे
पहली -पहली ,
पहले -पहल जब
मिले थे चंपा की छाँव में
शाम के धुंधलके में ...
थोडा सकुचाये तुम
घबराई सी थी
मैं भी
निशब्द ताकना तुम्हारा
बोलती आँखों से
लब खामोश थे ...
सहसा चंपा के फूल
का गिरना ,
फूल तो बहाना था
मानो मिला एक जरिया
तुम्हे मुझसे बतियाने का ...
हाथ में फूल
लबों पर मुस्कान
आँखों में प्रेम ,
याद है वो पल - घड़ी
मुझे अभी भी - आज भी
क्या तुम्हें भी है याद ...
याद मुझे तो है
वह तुम्हारी मुस्कान
फूल का मेरी तरफ बढ़ाना
जाने तुम फूल दे रहे थे
या मेरी तरफ हाथ बढा रहे थे ...
चंपा के फूल में बसा
तुम्हारा प्रेम
तुम्हारी छुअन
तुम्हारा मूक प्रेम -निवेदन
मुझे महका जाता है
आज भी -अभी भी
जब भी चंपा के पेड़ को
ताकती हूँ ...
क्या तुम्हे भी याद है
वो महक ,
वह छुअन
या तुमने भी भुला दिया
चंपा तले वो महकी हुयी सी
पहली मुलाकात ...
kya kehne, bahut khoob...
ReplyDeleteकितनी सुगंधित पहली मुलाकात.वह फूल अभी भी महकता होगा !
ReplyDeleteवाह !!! सुंदर सृजन,बहुत उम्दा प्रस्तुति,,,
ReplyDeleteRECENT POST: जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनायें.
बहुत उम्दा अभिव्यक्ति , बहुत शुभकामनाये
ReplyDeleteयहाँ भी पधारे
http://shoryamalik.blogspot.in/2013/01/yaadain-yad-aati-h.html
आपने लिखा....
ReplyDeleteहमने पढ़ा....
और लोग भी पढ़ें;
इसलिए शनिवार 06/07/2013 को http://nayi-purani-halchal.blogspot.in
पर लिंक की जाएगी.
आप भी देख लीजिएगा एक नज़र ....
लिंक में आपका स्वागत है .
धन्यवाद!
बहुत सुन्दर महकती हुई रचना..
ReplyDeleteभई वाह !, बहुत सुंदर......
ReplyDeleteचंपई यादें ....आज भी महकती हैं ...
ReplyDeleteबहुत सुंदर ....
अहा....
ReplyDeleteमन चम्पई हुआ....महक उठीं यादें....
अनु
वाह ||
ReplyDeleteबहुत सुन्दर प्यारा अहसास लिए
बेहद सुन्दर रचना....
हृदयस्पर्शी..
:-)
बहुत सुन्दर ... दिल खुश हो गया .. बधाई
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