आऊं नज़र तुम्हें
कभी , तो
नजरें न चुरा लेना...
देख लेना
बस नज़र भर के
और
मुस्कुरा देना...
सोचो तो जरा
कोहरा छा जाने से,
कम तो नहीं हो जाता
सूरज का वजूद ...
दूर हो जाने से
दूर चले जाने से
कम तो नहीं हो जाता
तुम्हारे होने का अहसास...
बस यही सोच कर
मुझे याद कर के
मुस्कुरा देना....
सच वजूद सबका होता है ... उपेक्षा कचोटती है मन को
ReplyDeleteबहुत सुन्दर
सुन्दर रचना
ReplyDeleteचाहे दूर ही हो, लेकिन कोई हमें चाहता है, यह एहसास ही दिल को सकून देता है। सुन्दर प्रस्तुति।
ReplyDeleteह्रदय-स्पर्श करने वाली कविता
ReplyDeleteबहुत ही सुन्दर प्रस्तुति ..... very nice ... Thanks for sharing this!! :) :)
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